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| थाने में मौत का सच आया सामने: आदिवासी युवक की मौत मामले में ASI समेत चार गिरफ्तार, मजिस्ट्रेट जांच में खुलासा Aajtak24 News |
मऊगंज - जिले में थाने के भीतर आदिवासी युवक की संदिग्ध मौत के मामले ने बड़ा मोड़ ले लिया है। मजिस्ट्रेटियल जांच में पुलिसिया भूमिका उजागर होने के बाद अपने ही थाने में पदस्थ ASI सूर्यबली सिंह समेत चार आरोपियों को गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया गया, जहां से सभी को जेल भेज दिया गया। यह मामला 16 फरवरी 2023 का है, जिसने पूरे जिले में पुलिस की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। मऊगंज जिले के घुरेहटा वार्ड क्रमांक 12 निवासी 29 वर्षीय आदिवासी युवक कैलाश कोल की मौत के मामले में आखिरकार न्याय की दिशा में अहम कार्रवाई हुई है। जानकारी के अनुसार, 16 फरवरी 2023 को कैलाश कोल पर चोरी का संदेह जताते हुए ग्रामीणों ने उसे बंधक बना लिया था। सूचना मिलने पर डायल-100 पुलिस मौके पर पहुंची और कैलाश को थाने लाकर मुंशी कक्ष में बैठा दिया गया।
उस समय थाने में ASI सूर्यबली सिंह ड्यूटी पर तैनात थे। बताया गया कि कैलाश के शरीर पर पहले से ही गंभीर चोटों के निशान थे। थाने में पूछताछ के दौरान उसकी हालत बिगड़ती चली गई और कुछ ही देर में उसकी मौत हो गई। युवक की मौत की खबर फैलते ही परिजन और समाजजन भड़क उठे और थाने में जमकर हंगामा हुआ। इसके बाद मामला दर्ज कर मजिस्ट्रेटियल जांच के आदेश दिए गए। जांच के दौरान थाने के CCTV फुटेज जब्त किए गए, जिनकी बारीकी से समीक्षा में ASI सूर्यबली सिंह की भी भूमिका संदिग्ध पाई गई। मजिस्ट्रेट जांच में सामने आए तथ्यों के आधार पर पुलिस ने ASI सूर्यबली सिंह, विवेक गिरी, वीरेंद्र उर्फ वीरू रजक और गणेश गिरी को आरोपी बनाया। सभी पर IPC की धारा 304, 330, 342, 34 एवं SC-ST एक्ट के तहत प्रकरण दर्ज कर उन्हें गिरफ्तार किया गया।
मऊगंज एसडीओपी सचि पाठक ने शनिवार शाम जानकारी देते हुए बताया कि यह मामला पुराने प्रकरण से जुड़ा है, जिसकी जांच लंबे समय से चल रही थी। जांच पूरी होने के बाद चार आरोपियों को चिन्हित कर कार्रवाई की गई है। उन्होंने कहा कि मामले में आगे की विवेचना जारी है और जो भी तथ्य सामने आएंगे, उनके आधार पर सख्त कदम उठाए जाएंगे।
