माघी पूर्णिमा संत रविदास जयंती पर साहित्यिक विमर्श एवं काव्य गोष्ठी संपन्न Ravidas jaynti par sahityak vimarsh avam kavya gosthi samppan Aaj Tak 24 news

 


माघी पूर्णिमा संत रविदास जयंती पर साहित्यिक विमर्श एवं काव्य गोष्ठी संपन्न  Ravidas jaynti par sahityak vimarsh avam kavya gosthi samppan Aaj Tak 24 news 

शहडोल  -  स्थानीय  साहित्यकार डॉक्टर दुर्गा शंकर श्रीवास्तव एवं श्रीमती रेणु श्रीवास्तव के निवास पर माघी पूर्णिमा संत रविदास जयंती के पावन अवसर पर साहित्यिक विमर्श एवं काव्य गोष्ठी का आयोजन राष्ट्रीय कवि संगम इकाई शहडोल के बैनर तले किया गया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि उत्तर प्रदेश फतेहपुर बिंदकी के लब्धप्रतिष्ठ साहित्यकार, समीक्षक श्री राज किशोर शुक्ल "राज", अध्यक्ष प्रतिष्ठित साहित्यकार एवं शिक्षक श्री रामाधार श्रीवास्तव एवं विशिष्ट अतिथि बघेली के सुप्रसिद्ध साहित्यकार श्री रामसखा नामदेव रहे ।कार्यक्रम का संचालन मृगेंद्र कुमार श्रीवास्तव द्वारा किया गया। माँ सरस्वती के पूजन अर्चन एवं शिव नारायण त्रिपाठी जी द्वारा वंदना के साथ कार्यक्रम का शुभारंभ हुआ । डॉक्टर श्रीवास्तव एवं उनके परिजनों द्वारा मंचस्थ अतिथियों का तिलक वंदन एवं माल्यार्पण कर अभिनंदन किया गया। उपस्थित सभी कवियों का भी तिलक वंदन कर स्वागत किया गया। मुख्य अतिथि श्री राज किशोर शुक्ल "राज" ने श्रीमती रेनू श्रीवास्तव के नव प्रकाशित कहानी संग्रह "यक्ष प्रश्न "की शानदार समीक्षा प्रस्तुत की ।कहानी संग्रह में वर्णित विविध कहानियों पर समीक्षात्मक विवरण प्रस्तुत करते हुए श्री राज ने रचनाकार श्रीमती रेनू श्रीवास्तव की कथा लेखन शैली एवं पत्र लेखन कला की मुक्त कंठ से सराहना की ।आपने सभी से विशेष आग्रह किया कि यक्ष प्रश्न कहानी संग्रह का अध्ययन अवश्य करें ।यह समाज को नई दिशा देने वाला एवं क्रांतिकारी परिवर्तन लाने वाला कहानी संग्रह  साबित होगा। कार्यक्रम के द्वितीय चरण में स्थानीय एवं समीपस्थ ग्राम व नगरों के कवि कवियत्रियों द्वारा शानदार काव्य पाठ प्रस्तुत किया गया। साहित्यकारों ने अपनी रचनाओं में भक्त कवि संत रविदास जी का पुण्य स्मरण किया ।इसके साथ ही वसंतोत्सव एवं विभिन्न समसामयिक विषयों पर प्रेरक रचनाओं का पाठ कर आयोजन को गरिमा प्रदान की।देवाधिदेव जटाशंकर की लीला है अपरंपार रे।भूत प्रेत नित करें चाकरी ऐसा अजब दरबार रे।।समूचे कार्यक्रम में सुधी श्रोता के रूप में डॉक्टर सुनील हथगेल सपत्नीक, श्रीमती शशि नामदेव ,डॉ गोपाल प्रसाद निगम ,डॉ अनीता निगम ,कमलजीत कौर मुंजाल विशेष रूप से उपस्थित रहे । कार्यक्रम के मुख्य अतिथि श्री राज किशोर शुक्ल राज ने शहडोल के साहित्यिक उत्कर्ष हेतु शुभकामना देते हुए साहित्यकारों की एक से एक बढ़कर रोचक प्रस्तुतियों पर प्रसन्नता व्यक्त की एवं रचनाकारों के सृजन वैशिष्ट्य की मुक्त कंठ से सराहना की ।अत्यंत साहित्यिक एवं आध्यात्मिक वातावरण में कार्यक्रम संपन्न हुआ।

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