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रीवा: पंचायत भवन की आरक्षित भूमि पर अवैध कब्जे का आरोप, वर्तमान सरपंच पर लगे गंभीर आरोप aarop Aajtak24 News |
रीवा/मध्य प्रदेश - रीवा जिले की मनगवां तहसील के अंतर्गत आने वाली जनपद पंचायत गंगेव की ग्राम पंचायत रक्सा माजन में एक बड़ा मामला सामने आया है। यहाँ के वर्तमान सरपंच देशराज पटेल पर आरोप लगा है कि उन्होंने पंचायत भवन के लिए आरक्षित शासकीय भूमि पर लगे पेड़ों को कटवाकर जेसीबी मशीन से समतल करा दिया और उस पर अवैध कब्जा कर लिया। इस संबंध में ग्राम पंचायत रक्सा माजन निवासी सरस्वती प्रसाद कुशवाहा ने अनुविभागीय अधिकारी मनगवां को लिखित शिकायत दी है।
क्या है पूरा मामला?
शिकायतकर्ता सरस्वती प्रसाद कुशवाहा के अनुसार, ग्राम पंचायत रक्सा माजन के खसरा नंबर 42 की यह भूमि शासन द्वारा पंचायत की विभिन्न योजनाओं जैसे शासकीय भवन, सार्वजनिक मंडी, गौशाला और विशेष रूप से पंचायत भवन निर्माण के लिए आरक्षित है। प्रार्थी ने बताया कि 24 जून 2025 को वर्तमान सरपंच देशराज पटेल ने इस भूमि पर जेसीबी मशीन चलवाकर लगभग 1549 वर्गफुट भूमि पर कब्जा कर लिया, जो पूरी तरह से अवैध है।
सरपंच पर लगे गंभीर आरोप
शिकायत में यह भी आरोप लगाया गया है कि सरपंच देशराज पटेल इस भूमि को अपने नाम से रजिस्ट्री कराने की प्रक्रिया चला रहे हैं, जबकि यह भूमि नवीन शासकीय खाते में दर्ज है और पूरी तरह से पंचायत की संपत्ति है। प्रार्थी का कहना है कि यह भूमि ग्राम समाज और शासकीय योजनाओं की धरोहर है, और इस पर निजी स्वार्थ के लिए कब्जा करना ग्राम विकास के विरुद्ध है। सरस्वती प्रसाद कुशवाहा ने अपने आवेदन में यह भी बताया है कि इस भूमि पर हर साल पंचायत भवन निर्माण को लेकर चर्चाएँ तो होती हैं, लेकिन आज तक भवन का निर्माण नहीं हो सका। यदि यह भूमि निजी कब्जे में चली जाती है, तो भविष्य में पंचायत के लिए कोई भवन निर्माण संभव नहीं हो पाएगा।
ग्रामीणों में रोष और प्रशासन की प्रतिक्रिया
इस पूरे प्रकरण से ग्रामवासियों में गहरा रोष व्याप्त है। वे मांग कर रहे हैं कि पंचायत की संपत्ति की रक्षा की जाए और जनहित में तत्काल ठोस निर्णय लिया जाए। उनकी मांग है कि इस अवैध कब्जे को तुरंत हटाया जाए, भूमि पर पंचायत भवन निर्माण की कार्रवाई सुनिश्चित की जाए, और दोषी सरपंच के खिलाफ वैधानिक कार्रवाई की जाए। ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि यदि प्रशासन ने शीघ्र कार्यवाही नहीं की, तो यह मामला एक बड़े विरोध प्रदर्शन का रूप ले सकता है। इस संबंध में तहसील मनगवां वृत्त गढ़ के तहसीलदार मनोज सिंह का कहना है कि घटना के संबंध में जानकारी पटवारी से मंगाई गई है। जो भी तथ्य सामने आएंगे, उस अनुसार कार्रवाई की जाएगी। वहीं, जनपद पंचायत सीईओ गंगेव ने बताया कि उन्हें अभी तक इस मामले की जानकारी नहीं मिली है, लेकिन वे रोजगार सहायक और सचिव से जानकारी प्राप्त करेंगे। यदि उनके द्वारा जानकारी देने में विलंब किया गया, तो उन्हें नोटिस जारी कर कानूनी कार्रवाई की जाएगी। क्या आपको लगता है कि ऐसे मामलों में स्थानीय स्तर पर जन भागीदारी और सूचना के अधिकार का उपयोग अवैध कब्जों को रोकने में मदद कर सकता है?