फतेहगढ़ घाट से हो रहा रेत का अवैध उत्खनन, नाव के सहारे निकाली जा रही रेत ret Aajtak24 News


फतेहगढ़ घाट से हो रहा रेत का अवैध उत्खनन, नाव के सहारे निकाली जा रही रेत ret Aajtak24 News 

देवास - जिले में रेत माफियाओं द्वारा लगातार मां नर्मदा का आंचल  छलनी करने का कार्य बदस्तूर जारी है। नर्मदा क्षेत्र नेमावर के आसपास के आधा दर्जन से अधिक गांवों में अवैध रूप से रेत खनन का कार्य हो रहा है। नाव के माध्यम से रेत निकालकर घाटों पर पहुंचाई जा रही है। यहां से ट्रैक्टर ट्राली के माध्यम से से रेत अन्य स्थानों तक पहुंच रही है। अवैध खनन का यह कार्य बरसों से जारी है लेकिन फतेहगढ़ घाट पर कभी भी कोई बड़ी कार्रवाई नहीं होती है। कभी-कभार खनिज, राजस्व व पुलिस विभाग कार्रवाई भी करता है लेकिन फिर खनन शुरू हो जाता है। फतेहगढ़ घाट पर सफेदपोश के सांठगांठ व रेत माफियाओं के रसूख के चलते मां नर्मदा के आंचल को लगातार छलनी किया जा रहा है। 

इन गांवों में होता है अवैध खनन

नेमावर के पूर्व व पश्चिम क्षेत्र के गांवों में अवैध रूप से रेत का खनन होता है। क्षेत्र के चिचली, दय्यत, तुरनाल, बिजलगांव, राजोर, बजवाड़ा, मंडलेश्वर  फतेहगढ़ आदि गांव नर्मदा तट से लगे हुए हैं। यहां अवैध रूप से नावों के माध्यम से रेत निकाली जाती है और घाट तक पहुंचाई जाती है। वर्तमान में सबसे ज्यादा रेत खनन फतेहगढ़ क्षेत्र में हो रहा है। यहां से रात और दिन के समय दर्जनों रेत के वाहन निकलते हुए देखे जा सकते हैं।

डुबकी लगाकर निकालते हैं रेत

नदी के बहते पानी से रेत निकालने में क्षेत्र के लोग माहिर हैं। हर गांव में लोगों के पास नावें हैं। इन गांवों में नाव से तीन से चार लोग नदी में जाते हैं। दो-तीन लोग पानी में उतरकर डुबकी लगाकर प्लास्टिक की तगारी के माध्यम से बहकर आने वाली रेत निकालते हैं। यह कार्य इतनी तेजी से होता है कि एक मिनट से भी कम समय में एक टोकरी रेत निकाल ली जाती है। इसके बाद उसे नाव में एकत्रित कर किनारे तय पहुंचाया जाता है। एक नाव में करीब एक ट्रॉली रेत निकलती है। किनारों पर रेत के ढेर लगाने के बाद स्थानीय लोग इस रेत को अन्य कारोबारियों को बेच देते हैं। कारोबारी यहां से जेसीबी व अन्य साधनों से ट्रक, डंपर व ट्रैक्टर-ट्रॉली में भरकर बाहर ले जाते हैं। 

क्षेत्र में वर्तमान में नहीं है कोई ठेका

नेमावर क्षेत्र में वर्तमान में रेत का कोई ठेका नहीं दिया गया है। इसके बावजूद यहां अवैध रूप से खनन हो रहा है। सूत्रों के अनुसार रेत के ट्रक-डंपरों को दूसरे जिले के ठेकेदार द्वारा अवैध रूप से राॅयल्टी दी जा रही है जबकि खनन जिले के नर्मदा क्षेत्र में हो रहा है।

वाहनों की बॉडी में बदलाव कर ओवरलोडिंंग

अवैध खनन के अलावा रेत के ट्रक, डंपर व ट्रैक्टरों में क्षमता से अधिक रेत भरकर ओवरलोडिंग की जा रही है। वाहनों की बॉडी में बदलाव कर क्षमता से अधिक रेत भरी जा रही है। डंपरों के ऊपरी हिस्से में अलग से लोहे के पतरा लगवाया जाता है जबकि ट्रैक्टर-ट्रॉलियां भी निर्धारित क्षमता से अधिक बड़ी बनाई जा रही है। क्षेत्र में क्षमता से अधिक बड़ी सैकड़ों ट्रॉलियां देखी जा सकती है। 



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