भरवेली थाना क्षेत्र के आसपास जमके चल रहा सट्टे का व्यापार और बिक रही कच्ची शराबभरवेली थाना क्षेत्र के आसपास जमके चल रहा सट्टे का व्यापार और बिक रही कच्ची शराब | Bharweli thana shetr ke aspas jamke chal rha satte ka vyapar

भरवेली थाना क्षेत्र के आसपास जमके चल रहा सट्टे का व्यापार और  बिक रही कच्ची शराब

भरवेली थाना क्षेत्र के आसपास जमके चल रहा सट्टे का व्यापार और  बिक रही कच्ची शराब

बालाघाट (देवेंद्र खरे) - भरवेली थाना क्षेत्र के अंतर्गत जमके चल रहा है सट्टे का व्यापार और बिक रही है कच्ची शराब जिसके कारण भरवेली थाने की कार्यप्रणाली पर उठ रहे सवाल जिला मुख्यालय से महज 5 किलोमीटर की दूरी पर स्थित मॉयल नगरी भरवेली में खुलेआम चल रहा सट्टे का व्यापार

आपको बता दें की

कोरोना महामारी के बढ़ते संक्रमण को देखते हुए संपूर्ण बालाघाट जिले में लॉकडाउन लगाया गया है।

जिसके कारण चप्पे-चप्पे पर पुलिस मौजूद है। उसके बावजूद भी सटोरियों के हौसले इतने बुलंद है कि खुलेआम सट्टा खिलाया जा रहा हैं। 

भरवेली थाना क्षेत्र के आसपास जमके चल रहा सट्टे का व्यापार और  बिक रही कच्ची शराब

जो पुलिस प्रशासन की मिलीभगत की ओर इशारा कर रहा है। हम बात कर रहे है भरवेली थाने  की जो भरवेली और हीरापुर ग्राम के बीचो-बीच स्थित है। किंतु भरवेली थाने के थाना प्रभारी एवं पुलिसकर्मी इतने छोटे क्षेत्र में भी कच्ची शराब की बिक्री जुआरीयों एवं सटोरियों पर अंकुश लगाने में असफल दिख रहे है।

यही कारण है कि वर्षों से चल रहे यहां सट्टे के व्यापार पर अंकुश नहीं लगाया जा सका है। पुलिस प्रशासन की ओर से कभी काल अपनी छवि को बचाए रखने के लिए छोटे-मोटे सटोरियों को पकड़कर फॉर्मलिटी पूरी करने का दिखावा कर कुछ ही देर में उसे छोड़ भी दिया जाता है।

जिसके कारण सटोरियों के हौसले और भी बुलंद होते जा रहे  हैं।

यही कारण है कि  मॉयल नगरी होने के बावजूद भी मॉयल में काम करने वाले कर्मचारियों का परिवार आज भी दाने-दाने के लिए मोहताज हैं।

क्योंकि इनकी कमाई का अधिकतर पैसा सटोरियों की जेब में चला जाता है। भरवेली थाना के पुलिसकर्मियों की निष्क्रियता के चलते एवं लॉकडाउन में कानून की ढिलाई के चलते इसके गंभीर परिणाम सामने आ रहे हैं।

जिसके चलते इन दिनों  व्हाट्सएप में एक वीडियो वायरल हो रहा है जो भरवेली मॉयल के कमरे का होना बताया जा रहा है जिसमें सट्टा लगाते लोग नजर आ रहे हैं 

इस क्षेत्र में कच्ची शराब बेचने वाले एवं जुआरी और सटोरियों नें अपना अड्डा बन रखा है। जिसका असर यहां के पढ़ने वाले मासूम बच्चों और युवाओं में देखा जा सकता है।

समय रहते पुलिस प्रशासन ने ऐसे कारनामों पर अंकुश नहीं लगाया तो देखते ही देखते क्षेत्र को उड़ता पंजाब बनने से कोई नहीं रोक पाएगा।

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