ये चारागाह नहीं मंडी रोड का प्रमुख मार्ग है | Ye charagah nhi mandi road ka pramukh marg hai

ये चारागाह नहीं मंडी रोड का प्रमुख मार्ग है

नगर में रोड पर बैठते हैं पशु कार्यवाही करने वाले करते हैं खानापूर्ति

ये चारागाह नहीं मंडी रोड का प्रमुख मार्ग है

धामनोद (मुकेश सोडानी) - शहर में ऐसी कई  रोड  है जो पशुओं के चारागाह बन गये है। जहां हमेशा कई दर्जनों पशु घूमते रहते हैं। सुबह-शाम मंडी  आइटीआइ छेत्र में कई लोग सैर के लिए आते हैं। सड़क पर भी ट्रैफिक हमेशा ज्यादा रहता है। कई बार इन पशुओं की वजह से यहां लोग चोटिल हो चुके हैं इस तरह अचानक रोड पर पशुओं के आने से कई वाहन सवार भी घायल हो चुके हैं। लोग कई बार नगर पालिका में शिकायत कर चुके गए  लेकिन पशुओं को पकड़ने वाला दस्ता सिर्फ कागजी कार्यवाही ही करता है औपचारिकता के नाम पर कभी कबार मुहिम चला कर अपने कर्तव्य से इतिश्री कर ली जाती है

महेश्वर मार्ग पर  आवारा पशुओं का जमावड़ा लगा रहता है। इसी रोड पर कई स्कूल एवं खेल परिसर के ग्राउंड भी बने हुए हैं। जिसमें हर रोज सुबह शाम खिलाड़ी प्रोक्टिस करने के लिए जाते हैं हालांकि अभी लॉकडाउन के चलते इन सब जगह पर आवाजाही बंद है लेकिन फिर भी पशु रोड पर बैठे रहते हैं लेकिन उपरोक्त मार्गों पर मुख्य रोड पर पशु मंडराते रहते हैं। इस रोड पर ज्यादा ही ग्रीनरी है, इसलिए आवारा पशु गपेड़ों के नीचे बैठे रहते हैं। कई बार ये झुंड में सड़कों पर आ जाते हैं, जिससे वाहन चालकों को परेशानी होती है

पशुओं से शहरवासी हो रहे है परेशान, हादसे का  डर


नगरमें मंडी रोड महेश्वर रोड मुख्य मार्ग रोड पर रोड पर बैठे पशुओं से आमजन परेशान है। जबकि इस ओर किसी का ध्यान नहीं जा रहा है। पूर्व में नगर के व्यापारियों रहवासियों ने  इसकी मौखिक शिकायत की थी लेकिन कोई बडी कार्रवाई नहीं होने से पशुओं की संख्या मुख्य सड़कों पर बढ़ रही है। जिससे दुर्घटना होने का डर बना हुआ है।



नगरमें कई जगह रोड पर  बैठे पशुओं से आमजन परेशान है

 बताया कि नगर हित नगर के विभिन्न मौहल्लों सहित चिकित्सालय के आस पास दिनभर पशुओं का जमावड़ा लगा हुआ हैं। लेकिन इस ओर किसी का ध्यान नहीं जाने से कभी भी बडी दुर्घटना होने का डर बना हुआ हैं। मुख्य सड़क के बीचों बीच अन्य सड़कों पर पशु जमकर बैठ जाते हैं। जिससे वाहनों का निकलना भी दुर्लभ हो जाता हैं। आवारा पशुओं की वजह से  दोपहिया वाहन के भी दुर्घटना होने का डर बना हुआ हैं। मुख्य बाजार में आए दिन आवारा पशुओं में आपस में मुठभेड़ होती रहती हैं जिससेे कई बार लोगों को बाइक से नीचे भी गिर  गए है   कई बार तो स्कूल जाते छोटे  बच्चों को भी अपने मौहल्लों बाजार से निकलने में परेशानी होती हैं।   इस संबंध में रोड पर बैठे पशु पकड़ने का अभियान चलाया था लेकिन पशु पकड़ने के बाद जिस गौशाला में  पशुओ को छोड़ा गया था कुछ पशु मालिक वहां से भी अपने पशु वापस ले आए तो ऐसी कार्यवाही का औचित्य क्या था ऐसे ही एक पशु के मारने से मंडी रोड पर एक व्यक्ति की जान भी चली गई थी नगर में रोड पर घूम रहे पशुओं को पकड़ कर कार्यवाही करने की आवश्यकता है

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