बेटे की मौत के बाद इंसाफ के लिए भटक रहा बुजुर्ग पिता
मृतक के परिजनों ने लगाए इलाज नही होने के मौत के आरोप
आमला (रोहित दुबे) - शासन द्वारा आमजनों व गरीबो के स्वास्थ उपचार हेतु अनेको योजनाओं का संचालन कर करोड़ो हर माह खर्च कर रहा है ।वही अगर देखा जाए तो जमीनी हकीकत कुछ और ही बया कर रही है ।ब्लाक में सरकारी अस्पताल के जिम्मेदारों द्वारा गैरजिम्मेदाराना हरकत से पीड़ित दर दर भटक रहे है ।जानकारी के मूताबिक ग्राम देवगांव निवासी सुखदेव गंगारे के साथ ग्राम के ही एक व्यक्ति द्वारा बेहरमी से पिटाई की गई थी ।जिसकी लिखित शिकायत पीड़ित ने आमला थाने में में दी ।जिसके बाद एम एल सी हेतु उसे सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पुलिस द्वारा ले जाया गया लेकिन ठीक से उपचार न कर उसे दर्द की टेबलेट देकर लोटा दिया गया ।जिसके दो दिन बाद मोत हो गई ।परिजनों ने जिला कलेक्टर को शिकायत की है जिसमे उल्लेख है कि आमला चिकित्सालय में इलाज नही मिलने से मौत हुई है मारपीट में घायल सुखदेव गंगारे सुखदेव को दिनांक 8 दिसम्बर को सरकारी अस्पताल ले गए थे ।लेकिन डॉक्टर ने रविवार छुट्टी होने का हवाला देकर निजी क्लिनिक से एक्सरे करवाने की सलाह दी ।इलाज नही मिलने से मरीज की 9 दिसम्बर को मौत हो गई ।शिकायतकर्ता मृतक की किरण ,सन्ध्या दोनों पुत्रियों ने अस्पताल के डॉक्टर पर कार्यवाही की मांग की ।वही मृतक के 78 वर्षीय बुजुर्ग पिता सुंदरलाल गंगारे ने सामुदायिक स्वास्थ केंद्र के चिकित्सकों पर आरोप लगाते हुए बताया कि उनके पुत्र के साथ बेहरमी से मारपीट की गई जिससे सिर पर घाव था सीने पर सूजन व पेट पैरों पर चोट थी लेकिन मेडिकल कुछ और जिसके चलते उन्हें कोई न्याय नही मिला ।
गौरतलब होगा कि सरकारी अस्पताल में देखा जाए तो राजनीति हावी है और पीड़ित पक्ष को भी राजनैतिक दबाव के चलते न्याय नही मिल पाया हो ।ब्लाक में अवैध क्लीनिकों झोलाछाप के गलत उपचार से मरीज पीड़ित व अनेको मामले प्रकाश में आ रहे है लेकिन कार्यवाही तो दूर खानापूर्ति का आलम है।
इस मामले में प्रतिक्रिया लेने प्रभारी बी एम ओ नरवरे को काल करने पर रिसीव नही किये।
दूसरी ओर जिला सी एम एच ओ जी सी चौरसिया का कहना है कि पीड़ितों ने जिला कलेक्टर को अगर शिकायत की है तो वहां से आदेश के बाद वे निष्पक्ष जांच कार्यवाही दोनों ही करेंगे।
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