37 वॉ आर्यिका दीक्षा-गुरुउपकार दिवस dikhsha guruupkar diwas Aaj Tak 24 news

 


37 वॉ आर्यिका दीक्षा-गुरुउपकार दिवस dikhsha guruupkar diwas Aaj Tak 24 news 

दमोह  -  गुरु उपकार बिना मुमुक्षु को मोक्ष मार्ग पर चलना संभव नहीं है। जैन धर्म में आर्यिका दीक्षा नारी सशक्तिकरण का जीवंत उदाहरण है। पुरुषों की तरह नारी भी मोक्ष की हकदार है। जैन धर्म में मोक्ष प्राप्ति के लिए वेद का भेद नहीं है। किसी भी भाव लिंग से मोक्ष को प्राप्त किया जा सकता है। चाहे स्त्री भाव वेद हो । चाहे पुरुष भाव वेद हो। चाहे नपुंसक भाव वेद हो। तीनों भावों से मुक्ति (मोक्ष) संभव है। शरीर की अपेक्षा से मात्र पुरुष शरीर धारण करके ही मोक्ष की उपलब्धि कुछ ऐसे ही और अधिक विचारों को जानने के लिए 2 फरवरी गुरुवार को दोपहर 1 बजे से दमोह नगर के श्री 1008 तीर्थंकर शांति नाथ जिनालय विजय नगर में पावन प्रवचन आयोजित हैं। जिसमें महिलाओं, विद्वानों सहित दर्शकों श्रोताओं को बैठने की समुचित व्यवस्था की गई है। विश्व विख्यात जैनाचार्य संत शिरोमणी परम पूज्य 108 विद्या सागर जी मुनि महाराज ने 36 साल पहले सर्व प्रथम 1987 में बुंदेल खंड में स्थित नैनागिर (रेशंदीगिर) जैन तीर्थ क्षेत्र पर 11 महिला मुमुक्षुओं को आर्यिका दीक्षाएं व 12 पुरुष मुमुक्षुओं को छुल्ल्क दीक्षाएँ प्रदान की थीं। प्रथम चरण की आर्यिका दीक्षार्थियों में तृतीय क्रम पर आर्यिका रत्न मृदु मति माता जी व नौवें क्रम पर विदूषी आर्यिका निर्णय मति माता जी के मस्तक पर महाव्रत के संस्कार आचार्य श्री विद्यासागर जी महाराज ने आरोपित किए थे। फिर अपने कर कमलों से अहिंसा का उपकरण मयूर पिच्छिका व शुद्धि का उपकरण कमंडल प्रदान किया था। लगातार 36 वर्षों से दोनों आर्यिका माता जी निर्वाध रुप से आगम व गुरू की आज्ञा में रहते हुए अपने महाव्रतों को दृढ़ता से पालन करती आ रहीं हैं। इस दौरान कर्म निर्जरा के साथ ही सुधि श्रावकों के कल्याण के लिए आर्यिका रत्न पूज्य मृदु मति माता जी ने अपनी लेखनी से अनेक विधान, ग्रंथों की रचना करी है आर्यिका रत्नश्री 105 मृदुमति माता जी व  विदूषी आर्यिका श्री निर्णय मति माता जी का 37 वां दीक्षा गुरू उपकार दिवस वंदनीय ब्रह्मचारिणी पुष्पा दीदी जी प्रवचन कर्ता के कुशल निर्देशन में 2 फरवरी गुरुवार को दिन में 1 बजे विजय नगर दमोह के जैन मंदिर में आयोजित किया है। विद्या मृदु प्रवाह ग्रंथ प्रकाशन समिति व मंदिर कमेटी ने जन मानस से धर्म लाभ की अपील की है।


          

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