मध्य प्रदेश में डिजिटाइजेशन आगे बढ़ा | MP main digitalisation aage bade

मध्य प्रदेश में डिजिटाइजेशन आगे बढ़ा

जो प्रशंसनीय प्रधानमंत्री श्री मोदी ने सिंगल क्लिक के माध्यम से स्वामित्व के अधिकार पत्रों का वितरण किया

उज्जैन जिले की 609 ग्राम पंचायतों में लगभग 60 हजार से अधिक लोगों ने सीधा प्रसारण देखा

मध्य प्रदेश में डिजिटाइजेशन आगे बढ़ा

उज्जैन (रोशन पंकज) - स्वामित्व योजना से जो आत्म विश्वास और जो भरोसा गांव में आया है वह लाभार्थियों के साथ बातचीत में साफ साफ झलक रहा है और मैं आज यहां भी देख रहा हूं और मेरी नजर तो दूर-दूर तक है जो जनता जनार्दन में उत्साह है, उमंग है, उसी पर टिकी हुई है। इतना प्यार इतना आशीर्वाद जनता जनार्दन का मिल रहा है। उनका कितना भला होता होगा इसका में पूरी तरह से अंदाज लगा सकता हूं। यह योजना कितनी बड़ी ताकत बनकर उभर रही है यह हरदा जिले के हांडिया, डिंडोरी के प्रेमसिंह, सीहोर जिले की बुधनी की श्रीमती विनीताबाई से बात करने का मौका मिला। उन्होंने विस्तार से बताया है स्वामित्व योजना के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि उन्हें बैंकों से लोन मिलना और ज्यादा आसान हुआ है। इस आशय के विचार सीधा प्रसारण कार्यक्रम में प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने व्यक्ति किये। उन्होंने मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान के द्वारा प्रदेश में किये जा रहे कार्यों की प्रशंसा व्यक्त करते हुए कहा कि प्रदेश में डिजिटाइजेशन आगे बढ़ा है, जो प्रशंसनीय है।

उज्जैन जिले की समस्त तहसीलों की 609 ग्राम पंचायतों में लगभग 60 हजार लोगों ने कार्यक्रम का सीधा प्रसारण देखा। कार्यक्रम में उज्जैन जिला मुख्यालय से कलेक्टर श्री आशीष सिंह, उपायुक्त भू-अभिलेख श्री राकेश शर्मा, अधीक्षक सुश्री प्रीति चौहान आदि उपस्थित थे। सुश्री चौहान ने बताया कि उज्जैन जिले में 1100 ग्रामों में आबादी सर्वे का कार्य होगा। वर्तमान में उज्जैन तहसील में यह कार्य प्रारम्भ हो चुका है। उक्त कार्य ड्रोन कैमरे की मदद से हो रहा है। अभी तक उज्जैन तहसील के 15 ग्रामों में ड्रोन कैमरे से कार्य हो चुका है।

सीधा प्रसारण प्रदेश के हरदा जिले में कार्यक्रम हुआ। जहां मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान, मंत्रीगण, सांसद, विधायकगण, अन्य महानुभाव और हरदा समेत प्रदेश के अलग-अलग क्षेत्रों में हजारों की संख्या में गांव से जुड़े व्यक्तियों ने सीधा प्रसारण देखा। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने इस अवसर पर सबसे पहले कृषि मंत्री श्री कमल पटेल का आज जन्मदिन होने पर उनको शुभकामनाएं दी। प्रधानमंत्री ने कहा कि मध्य प्रदेश में इस योजना को जमीन पर उतारने के लिए दिन रात एक कर मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कार्य किया है, वह प्रशंसनीय है। शुरुआती चरणों में प्रधानमंत्री स्वामित्व योजना को मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश महाराष्ट्र उत्तराखंड हरियाणा पंजाब कर्नाटक और राजस्थान के कुछ गांवों में लागू किया गया था इन राज्यों में गांव में रहने वाले लाखों परिवारों के लिए प्रॉपर्टी कार्ड तैयार हो चुका है। देश के अन्य राज्यों में भी इसका विस्तार किया जा रहा है। एक प्रकार से यह पायलट प्रोजेक्ट है ताकि आगे चलकर के योजना में कमी न रह जाए। पूरे देश में उक्त योजना का विस्तार किया जायेगा।

प्रधानमंत्री ने कहा कि जिस गति से मध्यप्रदेश आगे बढ़ रहा है मेरा विश्वास है कि जल्द ही राज्य के सभी ग्रामीण परिवारों को अधिकार अभिलेख अवश्य मिल जाएंगे। उन्होंने कहा कि हम अक्सर कहते सुनते आए हैं की भारत की आत्मा गांवों में बसती है। जब शिवराज बोल रहे थे तो मुझे याद आया कि मैं जब पहली बार गुजरात का मुख्यमंत्री बना और मेरा जो पहला बड़ा कार्यक्रम था वह भी गरीब कल्याण मेला था और अब मुझे खुशी है कि 20 वा साल का आखरी दिन भी मैं आज गरीबों के लिए कार्यक्रम में जुड़ा हुआ हूं। मुझे लगातार मेरे देश के गरीबों की सेवा करने का सौभाग्य मिलता रहा है मुझे विश्वास है स्वामित्व योजना भी आप सबकी भागीदारी से ग्राम स्वराज का एक उदाहरण बनेगा। कोरोना काल में भी देखा है कि कैसे सबने मिलकर एक लक्ष्य पर काम किया। बहुत सतर्कता के साथ इस महामारी का मुकाबला किया। उन्होंने कल से नवरात्रि लग रही है। मैं दुर्गा को प्रणाम करता हूं। देश में समृद्धि आये। प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान के नेतृत्व में मध्य प्रदेश लैंड डिजिटाइजेशन के मामले में अग्रणी राज्य बनकर उभरा है।

मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने सीधे प्रसारण के माध्यम से कहा कि प्रदेश के गांवों के आबादी क्षेत्रों में सम्पत्ति सर्वेक्षण अभियान प्रारम्भ किया है। भारत सरकार की स्वामित्व योजना के अन्तर्गत शुरू किये गये सर्वेक्षण का उद्देश्य नक्शे के आधार पर सम्पत्ति के मालिकाना हक का सरकारी दस्तावेज तैयार करना है। गांव की आबादी नक्शा तैयार करने का काम ड्रोन कैमरा का प्रयोग किया जा रहा है। इस योजना से जहां ग्रामीण लोगों की सम्पत्ति का सरकारी रिकार्ड तैयार होगा, वहीं ग्राम पंचायतों की सम्पत्ति की स्पष्ट एवं सटीक जानकारी उपलब्ध होगी। ग्रामीणों को अपनी सम्पत्ति के हक का सरकारी दस्तावेज उपलब्ध होने से अपनी सम्पत्ति बेचने में आसानी होगी और स्वामित्व कागज के आधार पर बैंक से ऋण प्राप्त करने में सुविधा होगी और ग्रामीण सुविधा का लाभ ले सकेंगे।

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