कोरोना संकट में सभ्य समाज मे शिक्षक और कोचिंग संचालकों को हाशिये पर ला खड़ा किया
बुरहानपुर। (अमर दिवाने) - शिक्षक एवं कोचिंग जो अपनी गुणवत्तापूर्ण शिक्षा से इस देश की युवा पीढ़ी का भविष्य सुधारती, बनाती रही है। आज खुद हाशिये पर है। पिछले 4 माह से ना उनके पास वेत्तन है, ना कोई औऱ सोर्स ऑफ इनकम, और ना कोई सरकारी योजना का लाभ, उनके पास है, तो उनका कमाया हुआ सम्मान जो उनको कोई दूसरा काम करने से भी रोकता है।
जब मॉल खुल सकते है, बसेस चलाई जा सकती है, तो सशर्त कोचिंग ओर ट्यूशन भी खोली जा सकती है। (शर्त - निर्धारित उम्र सीमा, सीमित संख्या, सोसल डिस्टेंसिंग, सेनेटाइज क्लासरूम) दोनों शैक्षणिक संस्था होने के बावजूद भी स्कूल और कोचिंग क्लासेस का व्यवहार अलग अलग है। शहर के प्रतिष्ठित कोचिंग संचालक एवं HUM कौटिल्य अध्यक्ष अजय सिंह मौर्य ने आज तक 24 न्यूज़ को बताया कि बहुत ही आहत हो कर कहना पड़ रहा है कि सभ्य समाज की पहली आवश्यकता शिक्षा और शिक्षकों को नज़र अंदाज़ करने से शिक्षा के मूल्यों को पतन की ओर धकलने की कोशिश है।
Tags
burhanpur