विधायक के घर पहुंची महिलाएं, गेट पर ही चौकीदार ने रोका रास्ता | Vidhayak ke ghar pahuchi mahilaye gate pr hi

विधायक के घर पहुंची महिलाएं, गेट पर ही चौकीदार ने रोका रास्ता

विधायक के घर पहुंची महिलाएं, गेट पर ही चौकीदार ने रोका रास्ता

उज्जैन (रोशन पंकज) - कोविड-19 को लेकर 3 मई से 17 मई तक तीसरे लॉक डाउन और कर्फ्यू का चरण लागू है। अभी भी लॉक डाउन खत्म होने में 7 दिनों का समय शेष है। इससे पहले गरीब बस्तियों में राशन भोजन की समस्या बढ़ती नजर आने लगी है। अब गरीब लोगों का धैर्य जवाब देने लगा है जनप्रतिनिधि भी अपने कदम पीछे कर चुके हैं।

22 मार्च जनता कर्फ्यू और उसके 1 दिन बाद पूरे देश में लॉक डाउन ने देश की रफ्तार को पूरी तरह से रोक कर रख दिया था। चीन से निकले खतरनाक वायरस कोविड-19 से जंग लडऩे के लिए देश में कर्फ्यू लागू कर दिया गया। पहले चरण में 21 दिन तक लोगों से घरों में रहने की अपील की गई। उसके बाद 19 दिन का लॉक डाउन और बढ़ा दिया गया। 40 दिनों तक घरों में रहने के बाद लोगों को एक बार फिर 3 मई से 17 मई तक घरों में रहने के आदेश सरकार द्वारा जारी कर दिए गए। जिसके चलते लॉक डाउन के तीसरे चरण में गरीब और मध्यमवर्गीय परिवारों की मुसीबत बढ़ती नजर आने लगी। धार्मिक नगरी उज्जैन में हालात दिन-ब-दिन बिगड़ते नजर आ रहे हैं। लोग कोरोना संक्रमण से कहीं अधिक भूख से परेशान नजर आ रहे हैं। पुलिस और प्रशासन के वरिष्ठ पदों पर अधिकारियों की अदला-बदली ने लोगों को और मुसीबत में डाल दिया है। अब तक शहर में गरीब बस्तियों तक सामाजिक संस्थाएं भोजन राशन पहुंचा रही थी। लेकिन कलेक्टर के आदेश के बाद संस्थाओं द्वारा वितरण किए जाने वाले भोजन पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। अब गरीब बस्तियों में लोगों के घरों तक राशन भोजन नहीं पहुंच पा रहा है। पिछले तीन-चार दिनों से लगातार भोजन राशन के लिए महिलाओं के जनप्रतिनिधियों और क्षेत्रीय नेतागिरी करने वालों के यहां पहुंचने की खबरें सामने आ रही है। कल रविवार को भोजन और राशन नहीं मिलने से परेशान हीरामिल, मायापुरी, कुष्ठ बस्ती, अमन नगर आदि क्षेत्रों की गरीब महिलाएं शाम के समय पूर्व खाद्य मंत्री और वर्तमान विधायक पारस जैन के घर पहुंची। जिसकी जानकारी विधायक को लगी तो उन्होंने कॉलोनी के गेट पर ही चौकीदार को आदेश दिया कि वह महिलाओं को अंदर नहीं आने दे। चौकीदार ने दर्जनों महिलाओं को देख गेट पर ही रोक लिया और लौटने की बात कहने लगा। महिलाओं ने विधायक को वोट देने और जिताने के साथ उनकी समस्या का समाधान करने की बात कही तो चौकीदार ने स्पष्ट रूप से इंकार करते हुए उन्हें अंदर नहीं जाने दिया। जिसके चलते महिलाओं ने हंगामा भी मचाया।

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